
गौरेला-पेंड्रा-मरवाही: महामहिम राज्यपाल रमेन डेका मंगलवार को अपने एक दिवसीय अल्प प्रवास पर गौरेला-पेंड्रा-मरवाही जिले पहुंचे। निर्धारित कार्यक्रम के अनुसार उन्होंने कलेक्ट्रेट परिसर स्थित अरपा सभा कक्ष में विभागवार समीक्षा बैठक से पूर्व जिले के विभिन्न जनप्रतिनिधियों और सामाजिक संगठनों के प्रतिनिधियों से भेंट मुलाकात की।इसी क्रम में माधवराव सप्रे पत्रकार संघ गौरेला मरवाही के पदाधिकारियों ने महामहिम राज्यपाल से सौजन्य मुलाकात की। प्रतिनिधिमंडल में संघ के अध्यक्ष अखिलेश नामदेव, वरिष्ठ पत्रकार दुर्गेश सिंह, मुकेश विश्वकर्मा तथा मनीष श्रीवास शामिल थे।पत्रकारों ने राज्यपाल से मुलाकात के दौरान जिले की साहित्यिक, सांस्कृतिक और पत्रकारिता से जुड़ी गतिविधियों की जानकारी साझा की। इस दौरान गौरेला-पेंड्रा-मरवाही जिले की साहित्यिक पहचान रहे पंडित माधवराव सप्रे की विरासत और उनके योगदान पर विशेष चर्चा हुई।पत्रकारों ने बताया कि पंडित माधवराव सप्रे न केवल हिंदी की प्रथम मौलिक कहानी “एक टोकरी भर मिट्टी” के रचयिता थे, बल्कि उन्होंने सन 1900 में छत्तीसगढ़ का प्रथम समाचार पत्र “छत्तीसगढ़ मित्र” का प्रकाशन कर क्षेत्र की पत्रकारिता को नई दिशा दी।राज्यपाल रमेन डेका ने इस ऐतिहासिक जानकारी पर आश्चर्य और प्रसन्नता व्यक्त करते हुए कहा कि छत्तीसगढ़ की यह भूमि केवल संस्कृति ही नहीं, बल्कि लेखनी और विचारों की भी समृद्ध धरती रही है। उन्होंने जिले के पत्रकारों की सराहना करते हुए कहा कि वे माधवराव सप्रे जैसी विभूतियों की साहित्यिक परंपरा को आगे बढ़ा रहे हैं।राज्यपाल ने कहा कि “स्थानीय पत्रकारिता समाज की आत्मा होती है”, और इस दिशा में जिले के पत्रकारों का योगदान अनुकरणीय है। उन्होंने पत्रकारों को साहित्य, समाज और संस्कृति के संरक्षण में सक्रिय भूमिका निभाने सराहना की ।






