भाजपा सरकार किसानों से धान खरीदना नहीं चाहती इसलिए खरीदी का समय कम किया
रायपुर : प्रदेश कांग्रेस के वरिष्ठ प्रवक्ता धनंजय सिंह ठाकुर ने कहा कि भाजपा की सरकार पूर्व की तरह ही 1 नवंबर से धान की खरीदी शुरू करें। जिद छोड़े किसानों की हित में धान खरीदी का समय बढ़ाये। 14 नवंबर से 31 जनवरी तक 75 दिन होते है जिसमे लगभग 35 दिन छुट्टी है। ऐसे में मात्र 40 दिन में 30 लाख से अधिक किसानों से 160 लाख मीट्रिक टन से अधिक धान की खरीदी संभव ही नहीं है। सरकार की धान खरीदी को लेकर अभी तक कोई तैयारी भी नहीं है। चालू खरीफ सीजन में धान खरीदी के लिए 8 लाख गठान से अधिक बारदाना लगेगा जबकि कैबिनेट ने मात्र चार लाख गठान बारदाना खरीदने का ही फैसला किया है, फिर किसानों को बारदाना कैसे मिलेगा? चालू खरीफ सीजन में 40 दिन में 30 लाख से अधिक किसानों से 160 लाख मीट्रिक टन धान की खरीदी करने प्रतिदिन 75 हजार से अधिक किसान और प्रतिदिन 4 लाख मीट्रिक टन धान की खरीदी करना पड़ेगा जिसकी सरकार की तैयारी नजर नही आ रही है।
ठाकुर ने कहा कि असल मायने में भाजपा सरकार किसानों से प्रति एकड़ 21 क्विंटल धान 3100 रुपए की कीमत पर खरीदने से पीछे हट रही है। इसीलिए धान खरीदी में समस्या उत्पन्न करके किसानों से धान खरीदने से बचना चाहती है। ताकि किसान हताश और परेशान होकर अपने उपज को औने-पौने दाम में कोच्चियों को बेचने मजबूर हो जाए।प्रदेश कांग्रेस के वरिष्ठ प्रवक्ता धनंजय सिंह ठाकुर ने कहा कि विष्णु देव साय और भाजपा के नेता जब विपक्ष में थे तब 1 नवंबर से धान खरीदी की मांग करते थे। आज सरकार में है तब वो धान खरीदी की तिथि 14 नवंबर से कैसे तय किए हैं? कांग्रेस पार्टी मांग करती है चालू खरीफ सीजन में धान खरीदी 1 नवंबर से शुरू किया जाए और धान बेचने पंजीकृत अंतिम किसान के धान बेचने तक धान की खरीदी हो। किसानों को धान की कीमत वादा अनुसार 3100 रुपए प्रति क्विंटल के अलावा धान के समर्थन मूल्य में 117 रुपए की जो वृद्धि हुई है उसका भी भुगतान किया जाए।